उमरियापान और ढीमरखेड़ा में भी होना चाहिए कार्यवाही, कार्यवाही के नाम पर अभयदान, अवैध कालोनी विकसित करने वाले 5 भूमि स्वामियों के विरुद्ध बरही थाना में एफआईआर दर्ज, न्यायालय कलेक्टर के आदेश पर अवैध कालोनाइजर्स के विरुद्ध कार्यवाही
उमरियापान और ढीमरखेड़ा में भी होना चाहिए कार्यवाही, कार्यवाही के नाम पर अभयदान, अवैध कालोनी विकसित करने वाले 5 भूमि स्वामियों के विरुद्ध बरही थाना में एफआईआर दर्ज, न्यायालय कलेक्टर के आदेश पर अवैध कालोनाइजर्स के विरुद्ध कार्यवाही
कटनी | अवैधानिक रूप से प्लाटिंग करने और अवैध कालोनी विकसित करने वालों के विरुद्ध न्यायालय कलेक्टर कटनी द्वारा आदेश पारित कर सख्त कार्यवाही की जा रही है। इसी क्रम में न्यायालय कलेक्टर के आदेश के परिपालन में ग्राम बरही में अवैध प्लाटिंग करने वाले 5 भू-स्वामियों के विरुद्ध शनिवार 15 नवंबर को बरही पुलिस थाना में मध्य प्रदेश नगरपालिका अधिनियम 1956 की धारा 292 सी एवं अधिनियम 196 की धारा 339 सी के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई है। इसके बाद अब अवैध कालोनाइजरों में हड़कंप मच गया है।
*इनके विरुद्ध हुई एफआईआर*
तहसीलदार बरही श्री आदित्य प्रकाश द्विवेदी ने बरही पुलिस थाना में कुल 5 व्यक्तियों के विरुद्ध एफ आई आर दर्ज कराया है। इनमें सुषमा ताम्रकार पिता विश्वनाथ ताम्रकार शामिल हैं,जिनके द्वारा ग्राम बरही स्थित भूमि खसरा नंबर 1202/3/च रकवा 0.642 हेक्टेयर भूमि में 9 भूखण्डों का विक्रय आवासीय प्रयोजन हेतु किया गया है और इसी प्रकार बरही निवासी 4 अन्य भूमि स्वामी क्रमशः लक्ष्मी प्रसाद ,सप्तमी प्रसाद ,अशोक कुमार पिता झुल्ली एवं राजकुमारी पुत्री झुल्ली निवासी बरही शामिल हैं,इन सभी के द्वारा वर्तमान मौका स्थिति अनुसार खसरा नंबर 1197 रकबा 0.457 हेक्टेयर मे से कुल 31 भू-खण्डों का विक्रय पत्र टुकड़ों में निष्पादित किया गया है। उल्लेखित भूमियों का विक्रय आवासीय प्रयोजन की दृष्टि से किया गया है जो अवैध प्लाटिंग की श्रेणी में आता है। साथ ही भूमियां डायवर्टड भी नहीं है।
*इन नियमों का किया उल्लंघन*
भूमि स्वामियों द्वारा राजस्व ग्राम बरही की खसरा नंबर 1202/3/च रकवा 0.642 हेक्टेयर और
खसरा नंबर 1197 रकबा 0.457 हेक्टेयर की जिन जमीनों की बिक्री की गई है । ये सभी जमीनें नगर परिषद बरही के अंतर्गत आता है और ये डायवर्टेड भी नहीं है। साथ ही भूमि के विक्रेताओं के पास रजिस्टर्ड कालोनाइजर अनुमति भी नहीं है। इसके अलावा नगरपालिका कालोनी विकास नियम 2021 के बनायें नियम के अधीन अनुज्ञा प्राप्त किए बिना मध्यप्रदेश नगर पालिक अधिनियम 1961 की धारा 339 (क)तथा 339 (ख) के प्रावधानों का उल्लंघन कर कालोनी विकास कार्य किया जा रहा था।जो कि अनाधिकृत कालोनी विकास की श्रेणी में आता है। कालोनी का ले-आउट नक्शा नगर तथा ग्राम निवेश कार्यालय से स्वीकृत नहीं है। जिला पंजीयक के प्रतिवेदन के मुताबिक दोनों रकवा की भूमि की बिक्री आवासीय प्रयोजन हेतु की गई है, जो अवैध प्लाटिंग की श्रेणी में आती है। साथ ही रेरा में पंजीयन कराये बिना भू-खंडों के अवैध बिक्री अपराध है।
*10 नवंबर को दिए थे आदेश*
बताते चलें कि न्यायालय कलेक्टर कटनी श्री आशीष तिवारी ने अनावेदकों द्वारा प्रस्तुत विक्रय पत्रों और खसरा अभिलेखों का सूक्ष्मता से अवलोकन के उपरांत सभी 5भूमि स्वाममियों को अवैध कालोनाइजिंग का दोषी पाते हुए उसके विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज कराने का आदेश दिया था।

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